<no title>लगनशील व निष्ठाभाव से पारदर्शी विवेचना कर पीड़ित को न्याय व अपराधियों को सज़ा दिलाएं : एडीजी श्री कटिया

 


*लगनशील व निष्ठाभाव से पारदर्शी विवेचना कर पीड़ित को न्याय व अपराधियों को सज़ा दिलाएं : एडीजी श्री कटियर*


*हर ब्लाइंड मर्डर/रेप का किया जा सकता है पर्दाफ़ाश, क्योंकि साक्ष्य बोलते है, जिंदा आदमी झूठ बोल सकता है लेकिन मुर्दा नही : डॉ. हर्ष शर्मा*


भोपाल : दिनाँक 18 फरवरी 2020 - पुलिस अधिकारियों की दक्षता बढ़ाने तथा समयानुसार समाज मे हो रहे बदलाव के परिपेक्ष्य में उनके कार्य से सम्बंधित नवीनतम ज्ञान तथा कौशल निरतंर प्रशिक्षण के माध्यम से उन्नत कराये जाने के सम्बंध में भोपाल जोन के विदिशा, सीहोर व राजगढ़ जिले के एएसपी,  प्रोबेशनर सीएसपी/एसडीओपी, इंस्पेक्टर, पीएसआई का आज दोपहर पुलिस कंट्रोल रूम में जोन स्तरीय एक दिवसीय प्रशिक्षण आयोजित किया गया, जिसमें डीआईजी देहात डॉ. आशीष, एसपी साउथ श्री साईं कृष्ण, एएसपी श्री संजय साहू, एएसपी श्रीमती रश्मि मिश्रा, एएसपी सीहोर श्री समीर यादव एवं करीब 60 प्रशिक्षणार्थी मौजूद रहे।


एडीजी श्री कटियार ने प्रशिक्षणार्थियों को संबोधित करते हुए कहा कि जिलों में की जाने वाली सभी कार्यवाही को लगन व गम्भीरता से सीखें एवं हर एक अपराध की विवेचना निष्ठाभाव से कर पीड़ित को न्याय व अपराधी को सज़ा दिलाने में मुख्य भूमिका निभाकर एक अच्छे अधिकारी बने। इसके अलावा श्री कटियार द्वारा पीएसआई ने थानों में सीखी गई सभी कार्यवाही एवं समस्याओं की समीक्षा की गई।


फॉरेंसिक साइंस लेबोरेटरी (FSL) सागर के डायरेक्टर डॉ. हर्ष शर्मा ने बताया कि घटना स्थल पर मौजूद सभी साक्ष्य की हर एक बिंदुओ पर बारिकी, गहनता व फॉरेंसिक वैज्ञानिक दृष्टिकोण से इंवेस्टिगेशन की जाए तो हर ब्लाइंड मर्डर/रेप & मर्डर का पर्दाफाश कर दोषी को सलाखों के पीछे भेजा जा सकता है क्योंकि साक्ष्य बोलते है, जिंदा आदमी झूठ बोल सकता है लेकिन मुर्दा नही। हर एक मर्डर व रेप & मर्डर आदि सभी जघन्य अपराधों में घटना स्थल पर कोई न कोई ऐसा साक्ष्य मौजूद रहता है जिसे सुरक्षित कर हम अपराध की तह तक जाकर अपराधी को पकड़ सकते है और घटना स्थल पर मिले सभी साक्ष्य को एकत्रित कर आरोपी को सजा दिला सकते है। डॉ. शर्मा ने घटनास्थल पर मिलने वाले साक्ष्य को किस एंगल से और क्या क्या साक्ष्य से अपराध का खुलासा किया जा सकता है, औऱ क्या सावधानियां बरतनी चाहिए इस बारे में विस्तारपूर्वक व्याख्यान दिया। इसके अतिरिक्त विभिन्न प्रशिद्ध/सनसनीखेज ब्लाइंड मर्डर/रेप & मर्डर के प्रोजेक्टर के माध्यम व्यवहारिक उदाहरण देकर किस तरह स घटना का पर्दाफाश किया गया, इस बारे में विस्तृत प्रशिक्षण दिया।


एआईजी सायबर पुलिस मुख्यालय श्री सुदीप गोयनका ने प्रशिक्षणार्थियों को सायबर क्राइम के संबंध में बताया कि आधुनिक समय मे अनेक प्रकार से सायबर अपराधों में बढ़ोतरी हुई है जिन्हें हम जागरूक होकर काफी हद रोका जा सकता है एवं अगर कोई सायबर अपराध होता है तो उसमें किस तरह से, किन बिंदुओ पर क्या-क्या साक्ष्य एकत्रित कर विवेचना करना है इस बारे में विस्तृत जानकारी दी।